95वॉं भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद स्थापना/प्रौद्योगिकी दिवस का आयोजन 16, 17 एवं 18 जुलाई को कृषि विज्ञान केन्द्र, पी0जी0 कालेज, गाजीपुर में किया जाना है। इसी श्रृंखला में 16 जुलाई को स्थापना दिवस के अवसर पर केन्द्र के सीनियर साइंटिस्ट एण्ड हेड/प्रभारी डॉ0 विनोद कुमार सिंह ने कृषि विज्ञान केन्द्र द्वारा जनपद में संचालित किए जा रहे कृषि कार्यक्रमों के बारे में बताते हुए कहा कि जनपद के ब्लॉकों से किसानों का चयन कर प्रशिक्षण, सी0एफ0एल0डी0, एफ0एल0डी0, ओ0एफ0टी0, उच्च गुणवत्ता का बीज, तकनीक के द्वारा किसानों में आत्मविश्वास के साथ आय दुगुनी करने का प्रयास कर किया जा रहा है। किसान पूरी तन्मयता के साथ केन्द्र से जुड़कर कृषि कार्य कर रहे हैं। इसी कड़ी में श्री अजीत कुमार सिंह, अपर महाधिवक्ता, उ0प्र0 सरकार एवं चेयरमैन कृषि विज्ञान केन्द्र ने कहा कि हमारा लक्ष्य किसानों को अधिक से अधिक जोड़कर कार्य करने की है। उन्होंने कहा कि किसान भाई केन्द्र के वैज्ञानिकों से जुड़कर कृषि उत्पाद, मछली पालन, मुर्गी पालन, बकरी पालन, मशरूम उत्पादन, वर्मी कम्पोस्ट उत्पादन, बत्तख पालन के बारे में जानकारी प्राप्त कर लाभ प्राप्त कर सकते हैं। आई0सी0ए0आर0 स्थापना/प्रौद्योगिकी दिवस के दूसरे दिन 17 जुलाई को मुख्य अतिथि के तौर पर श्रीमती सपना सिंह अध्यक्ष जिला पंचायत ने कहा कि कृषि विज्ञान केन्द्र एवं किसानों के कार्यक्रम में आकर मुझे बहुत ही संतुष्टी प्राप्त होती है। साथ ही उन्होंने कहा कि किसान भाई एवं महिलाएं स्वयं सहायता समूॅह, किसान उत्पादक संगठन बनाकर सरकारी योजनाओं का लाभ लेकर अपने को लाभान्वित कर सकते हैं। मुख्य पशुचिकित्साधिकारी डॉ0 शिव कुमार रावत ने पशुपालन से सम्बन्धित योजनाओं बकरी पालन, सुकर पालन, गाय पालन के बारे में विस्तार से चर्चा की एवं एन0आर0एल0एम0 योजना के बारे में कैसे लाभान्वित होंगे प्रशिक्षण प्राप्त किसानों को बताया। जिला उद्यान अधिकारी डॉ0 शैलेन्द्र दुबे ने वृहत् वृक्षारोपण कार्यक्रम के बारे में किसान भाईयों को जागरूक किया और अपने विभागीय योजनाओं के बारे में विस्तार से चर्चा की। स्थापना दिवस के अवसर पर बकरी पालन के प्रशिक्षणार्थियों को प्रमाण-पत्र वितरित कियि गया। कार्यक्रम में केन्द्र के डॉ0 डी0के0 सिंह, डॉ0 एस0के0 सिंह, डॉ0 ओमकार सिंह, डॉ0 रागिनी दूबे, आशीष कुमार वाजपेयी, आशुतोष सिंह, डॉ0 पी0के0 सिंह, सुनील कुमार, कपिलदेव शर्मा सहित लगभग 95 किसान उपस्थित थे। संचालन