तिहाड़ जेल में बंद कैदियों से मिलने लोग नंबर लगाकर जाते थे। उन्हें अपनों से मिलने की जल्दी रहती थी। अक्सर यहां पर भीड़ भी उसी वजह से रहती है। क्योंकि लोग का ध्यान अपनों से मिलने वालों पर रहता था। इसी का फायदा उठाकर एक शातिर चोर यहां पर जेल के बाहर मोबाइल, कैश, इत्यादि चोरी का खेल खेलने लगा। एक-दो नहीं बल्कि लगभग एक दर्जन मोबाइल भी चोरी कर चुका था।
पब्लिक बनाकर दो पुलिस कर्मियों को घुसाया भीड़ में
जब पुलिस को जेल के बाहर मोबाइल और अन्य सामान चोरी होने के बारे में जानकारी मिली तो छानबीन शुरू हुई।
हेड कांस्टेबल ओमप्रकाश और कांस्टेबल पवन को सादे कपड़े में तैनात किया गया। वह दोनो पुलिसकर्मी भी आम लोगों की तरह भीड़ में शामिल हो गए और जिसके कारण उन्हें मोबाइल चोर के बारे में जानकारी मिल गई।
11 मोबाइल, घड़ी, ईयर पैड, कैश, डॉक्यूमेंट बरामद
डीसीपी विचित्र वीर ने बताया कि इस मामले में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। जिसकी पहचान प्रकाश और मोहम्मद सोहेल के रूप में हुई है। एक बुराड़ी का रहने वाला है, जबकि दूसरा जहांगीरपुरी का। इनके पास से 11 मोबाइल बरामद किए गए हैं। इसके साथ-साथ घड़ी, ईयर पैड, कैश और अन्य डॉक्यूमेंट भी बरामद किया गया है। इनमें से एक चोर है और दूसरा रिसीवर।
एक करता चोरी, दूसरा खरीदता था उससे मोबाइल
पुलिस के अनुसार तैनात किए गए पुलिस कर्मियों ने सबसे पहले प्रकाश को मोबाइल और अन्य सामान कार से चोरी करते हुए रंगे हाथ पकड़ा था। जो तिहाड़ जेल के गेट नंबर 4 के बाहर इस तरह की वारदात को अंजाम देता हुआ पकड़ा गया। उससे पूछताछ हुई तो उसने बताया कि इसका एक साथी भी है। जो इससे चोरी का सामान खरीदता है, फिर पुलिस टीम ने जहांगीरपुरी से मोहम्मद सोहेल को पकड़ा। उसके पास से सात मोबाइल बरामद किए गए।
पुलिस से बचने मोबाइल को पार्ट पार्ट में बेचता
उसने पुलिस को बताया कि वह चोरी का खरीदा गया मोबाइल को पार्ट पार्ट में अलग-अलग करके उसे फिर बेच दिया करता था। जिसकी वजह से उसे पकड़े जाने का डर भी नहीं रहता था और उसे फायदा भी हो जाता था। बरामद किए गए मोबाइल का पुलिस पता लग रही है। जिससे पता चल सके कि बरामद किया गया मोबाइल किन-किन लोगों का था।