सादुल्लाहनगर (बलरामपुर) /स्थानीय कस्बे में चल रहे नौ दिवसीय रुद्रामहायज्ञ के प्रथम दिन कथा के महत्व पर प्रकाश डालते हुए यज्ञाचार्य पंडित सुरेंद्रनाथ शास्त्री जी ने कहा कि इसे सुनने मात्र से मनुष्य के सभी इच्छाएं स्वत: पूर्ण होने लगती हैं और आत्मिक शांत मिलती है । मनुष्य जो भी कामना लेकर भगवान भोले शंकर की कथा को श्रवण करता है उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती जाती हैं। इसी क्रम में कथा व्यास मध्य प्रदेश उज्जैन धाम से पधारी किशोरी प्रज्ञा विष्णु प्रिया ने कथा में कहा कि शंकर भगवान की कथा कल्पवृक्ष के समान है। इसके नीचे जो इंसान एक बार आ जाता है उसके मनोरथ स्वत: सिद्ध होने लगता हैं। और आत्मिक बल बना रहता है । जिसके पास आत्मिक बल होता है उसे कोई हरा नहीं सकता है। मन के हारे हार है और मन के जीते जीत है। कार्यक्रम अध्यक्ष राधेश्याम गुप्ता ने आए हुए सभी भक्तगणों व कथा वाचक का हार्दिक आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर संतराम मिश्र, प्रदीप गुप्ता, पंकज गुप्ता, राम लोटन गुप्ता,रमेश तिवारी, भाई राम मिश्रा, विनय गुप्ता, अखिलेश गुप्ता, निलेश गुप्ता ,संतोष गुप्ता, गुलाब चन्द्र गुप्ता सहित अन्य लोगों ने कथा श्रवण किया।