यमुना में बाढ़ का पानी उतरने के साथ दिल्ली के अस्पताल जल व मच्छर जनित बीमारियों से निपटने के लिए तैयार हो रहे हैं। डॉक्टरों ने आशंका जाहिर की है कि पानी कम होने पर बीमारियां फैलने का खतरा है।
काफी संख्या में इनसे पीड़ित मरीज अस्पताल पहुंच सकते हैं। इसे देखते हुए दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने अस्पतालों को तैयार होने का निर्देश दिया है। डीडीएमए के निर्देश पर अस्पतालों में दवाइयों का बफर स्टॉक रखा गया है। अलग से वार्ड भी तैयार किए जा रहे हैं। साथ ही डॉक्टरों व स्वास्थ्य कर्मियों को किसी भी स्थिति से निपटने के लिए अलर्ट रहने को कहा गया है।
डॉक्टरों का कहना है कि जैसे-जैसे यमुना का जल स्तर कम होगा, उसी गति से मरीज अस्पताल पहुंचेंगे। बाढ़ के कारण दूषित हुए पेय जल, जगह-जगह हुए जलभराव के कारण लोग बीमारियों के चपेट में आ सकते हैं। इसके अलावा दूषित पानी के कारण पेट से संबंधित बीमारियां, पीलिया (हेपिटाइटिस-ए), टायफाइड, डेंगू, चिकनगुनिया जैसे रोग होने का खतरा बढ़ गया है। वहीं बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों से बड़ी संख्या में सांप के काटने के मामले भी सामने आ रहे हैं।
इस बारे में लोकनायक अस्पताल के वरिष्ठ डॉक्टर ने बताया कि यमुना में आए बाढ़ के बाद दिल्ली में जगह-जगह जलभराव होने से बड़ी संख्या में लोग अस्पताल नहीं पहुंच पाए। शुक्रवार को अस्पताल की ओपीडी और इमरजेंसी में 25 फीसदी तक मरीज घट गए थे। शनिवार को भी मरीजों की संख्या कम रही। जल स्तर घटने के बाद रास्ते खुलने लगे हैं। ऐसे में सोमवार को मरीजों की संख्या में 20 से 25 फीसदी तक इजाफा होने की आशंका है। उन्होंने कहा कि राहत कैंप में चल रहे मोबाइल डिस्पेंशन में आने वाले बच्चों में उल्टी, दस्त, पेट में दर्द की शिकायत ज्यादा है।
डॉक्टरों व स्वास्थ्य कर्मियों को किया अलर्ट
मोती नगर स्थित आचार्य श्री भिक्षु अस्पताल के अधिकारी ने बताया कि अस्पताल में दवाओं का स्टॉक रखा गया है। जरूरत पड़ने पर वार्ड भी बना दिया जाएगा। डॉक्टरों व स्वास्थ्य कर्मी को अलर्ट कर दिया गया है। बाढ़ के कारण सांप के काटने, पीलिया, डायरिया, टाइफाइड के मामले ज्यादा आ रहे रहे। उन्होंने कहा कि 10-15 दिनों में इनकी संख्या और बढ़ने की उम्मीद है।
बढ़ सकते हैं तेजी से मामले
हिंदूराव अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. मुकेश ने बताया कि आने वाले दिनों में जल-मच्छर जनित बीमारियों के बढ़ने की आशंका है। उन्होंने कहा कि यदि लोग बचाव के लिए जागरूक रहते हैं तो परेशानियां कम होंगी। इस समय पानी को उबाल कर पीने से जल जनित बीमारियों से बचकर रह सकते हैं। वहीं आसपास सफाई रखने से मच्छर जनित बीमारियों को भी रोका जा सकता है।